google.com, pub-5050673853034467, DIRECT, f08c47fec0942fa0 हीमोग्लोबिन क्या है haemoglobin in hindi Skip to main content

Best Dark Chocolate: Exploring Health Benefits, Flavors, and Top Brands

हीमोग्लोबिन क्या है haemoglobin in hindi

 

    हीमोग्लोबिन क्या है ( what is Haemoglobin) 

     हिमोग्लोबिन क्या है   हीमोग्लोबिन एक तरह का प्रोटीन है जो कि लाल रक्त कोशिकाओं में पाया जाता है (आरबीसी का मतलब लाल रक्त कणिका है रेड blood cells, RBCs का जीवन काल 120 दिन का होता हैं जो आपके रक्त का एक अनिवार्य हिस्सा है।) शरीर में खून की कमी या अधिक हीमोग्लोबिन की मात्रा पर आधारित होती है हिमोग्लोबिन मे एक हीमो  नामक प्रोटीन पाया जाता है जो कि ऑक्सीजन  के कण  को फेफड़ों से लेकर शरीर के विभिन्न अंगों तक पहुंचाता है अधिकतर वृद्धजन और गर्भवती महिलाओं में हीमोग्लोबिन की कमी देखी गई है 


    हिमोग्लोबिन की कमी की मुख्य वजह :-

    हीमोग्लोबिन कम होने के कारण शरीर में कुछ पोषक तत्वों की कमी और कुछ बीमारियां जैसे ऐड्स, लिंफोमा, थैलेसीमिया, बवासीर ,सिरोसिस ,कैंसर ,पेट के अल्सर , माहवारी की अनियमितता और अधिक रक्तस्राव ,आयरन की कमी, विटामिन की कमी ,सिकलसेल और शराब, तंबाकू ,बीड़ी, सिगरेट ,की  लत भी एक वजह हो सकती है

    हीमोग्लोबिन कम होने के लक्षण:-  

    हीमोग्लोबिन कम होने के मुख्य लक्षण 1. थकान महसूस करना, 2.कमजोरी 3.  याददाश्त कम होना 4. बेचैनी 5.मांसपेशियों में जकड़न 6. हाथ पैर में दर्द 7. चक्कर आना 8. नींद अधिक आना आदि लक्षण हीमग्लोबिन की कमी को दर्शाते है! 

    हीमोग्लोबिन की नार्मल रेंज:- normal hemoglobin range 

    हीमोग्लोबिन कितना होना चाहिए, 
    हिमोग्लोबिन की नार्मल स्थिति पुरुषों, महिलाओं, बच्चों में अलग-अलग पाई जाती है 
                 पुरुष        13 -18   gm/dl
                 महिला      12- 16   gm/dl
    जन्म के समय बच्चों में 14- 24 gm/dl
           0 से 2 सप्ताह   12-20  gm/dl.
           2 से 6 माह       10- 17 gm/dl
           6 माह से 1 वर्ष 9 -14    gm/dl
           1 से 6 वर्ष       9.5 -14 gm/dl
           6 से 18 वर्ष     10- 15  gm/dl
    गर्भवती महिलाओं में ये स्तर कम हो सकते हैं जो की 9-12 gm/dl तक. 

    हीमोग्लोबिन की कमी से होने वाले रोग :-

    हिमोग्लोबिन की कमी के कारण शरीर में अनेक बीमारियां पैदा हो सकती हैं जैसे एनीमिया ,पीलिया ,कैंसर, दिल की बीमारी, लिवर की समस्याएं जोड़ों में दर्द ,बच्चों की मानसिक एवं शारीरिक वृद्धि नहीं हो पाती, आदि रोग पैदा होते हैं

    हिमोग्लोबिन परीक्षण, Hb℅ test, हीमोग्लोबिन टेस्ट कैसे होता है,  हिमोग्लोबिन का टेस्ट किस नाम से होता है 

    हिमोग्लोबिन या  Hb℅ टेस्ट के लिए आप अपने नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र, हॉस्पिटल  नर्सिंग होम, पैथोलॉजी लैब से संपर्क कर सकते हैं  या अपने डॉक्टर से सलाह ले सकते है 

    हीमोग्लोबिन टेस्ट का नाम  :

    यह एक ब्लड टेस्ट है जो की हीमोग्लोबिन या Hb℅ या CBC भी हो सकता है इसके लिए डॉक्टर आपके कुछ और टेस्ट भी करा सकते हैं जैसे आयरन डिफिशिएंसी विटामिन डी विटामिन B12 आदि 

    हीमोग्लोबिन कैसे बढ़ाए , (hemoglobin Kaise badhaen) 

    Hb℅ हिमोग्लोबिन बढ़ाने के लिए हमको अपने भोजन में पर्याप्त मात्रा में पोषक तत्व शामिल करना होगा! इसमें आयरन मिनरल विटामिन खनिज प्रोटीन  युक्त भोजन हो, इसमें हरी सब्जियां जैसे ब्रोकली पालक  मटर सलाद आदि, गुड एक बहुत ही अच्छा स्रोत है खून बढ़ाने के लिए भारतीय परंपरा में बच्चे के जन्म के बाद माताओं को गुड़ दिया जाता है मूंगफली चना चुकंदर अनार गन्ना चिकन मटन भी ले सकते हैं और इसके लिए आप अपने डॉक्टर से सलाह ले सकते हैं (" haemogrow syrup" भी एक अच्छा  विकल्प है खून बढ़ाने के लिए, इसमें पुराना गुण मुलेठी अनारदाना  ब्लैक पेपर सौंठ पीपली अमलाकी रसायन अजवाइन मंडूर भस्म टंकण भस्म शुद्ध शिलाजीत आदि प्राकृतिक जड़ी बूटियों का मिश्रण है) बादाम वाला दूध पिए ,खजूर किशमिश किशमिश खाएं  इन में प्रचुर मात्रा में  आयरन पाया जाता है  जो बहुत जल्दी खून बढ़ाने में मदद करता है 
    अनार रोजाना खाने से खून जल्दी बढ़ता है
    Balance diet



    हीमोग्लोबिन अधिक होने का कारण और उससे होने वाली समस्याएं 

    निर्जलीकरण:-   

    डिहाइड्रेशन

    जब हमारे शरीर में तरल पदार्थ की कमी  होती है उस उस स्थिति में हमारे शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ जाती है जैसे उल्टी दस्त आदि में

    नशा:-  

    जो व्यक्ति अधिक मात्रा में नशा करता है जैसे सिगरेट शराब गांजा आदि के कारण से फेफड़े  खराब हो जाते हैं इस स्थिति में लाल रक्त कणों को ऑक्सीजन पर्याप्त मात्रा में नहीं मिल पाती उस स्थिति में भी हीमोग्लोबिन का स्तर बढ़ जाता है

    पर्वतारोही या ऊंचे पहाड़ों पर रहने वाले लोग:-

    ऊंचे पहाड़ों पर रहने वालों लोगों का हिमोग्लोबिन भी अधिक होता है क्योंकि वहां ऑक्सीजन की कमी के कारण फेफड़ों तक पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन नहीं पहुंचती यह भी एक कारण है
    लाल रक्त कणिकाओं को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन नहीं मिलती जिसे हिमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ जाती है .! 

    बर्न पेशेंट या जला हुआ मरीज :-  आग में जले हुए व्यक्ति या करंट लगे हुए व्यक्ति का हीमोग्लोबिन बढ़ जात है क्योंकि कारण उसके शरीर में पाए जाने वाला तरल प्लाज्मा plasma खत्म हो जाता है या कम हो जाता है जिससे हीमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ जाती है

    कोविड-19:-  कोविड-19 के मरीजों  में भी खून गाढ़ा होने की समस्या काफी हद तक देखी गई है कारण फेफड़ों के संक्रमण से ऑक्सीजन की मात्रा में कमी इसका मुख्य कारण रहा!  इसी के चलते काफी मरीजों को हार्टअटैक से अपनी जान गवानी पड़ी ! 
    Covid 19

    कुछ बीमारियां हीमोग्लोबिन के स्तर को  बढ़ा देती है:-

     हृदय की समस्या ,  यकृत कैंसर , किडनी कैंसर , COPD

    एरिथ्रोपोइटिन (EPO) जैसी दवाएं, जो लाल रक्त कोशिका को बढ़ा देती! 

    हीमोग्लोबिन ज्यादा होने के नुकसान :-   

    शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ जाने पर
     1.सिर में दर्द 
    2.चक्कर आना
     3.घबराहट
     4.चोट लगने पर अधिक मात्रा में खून बहना  
     5.स्त्रियों में माहवारी के समय अधिक रक्तसव 
     6 पसीना आना 
     7.सीने में दर्द
     8.खुजली आदि समस्याएं आती हैं

     खून गाढ़ा होने पर गंभीर समस्याएं :-  

    खून अधिक होने पर या गाढ़ा होने पर ब्लड प्रेशर, हार्ट अटैक ,ब्लड क्लोटिंग, खून का थक्का बनना पैरालाइसिस, लकवा जैसी बीमारियों की संभावनाएं बढ़ जाती है  शरीर में खून की मात्रा अधिक होने से खून में थक्के बनने की संभावनाएं बढ़ जाती है इसके कारण heart attack और मस्तिष्क में क्लोट बनने के कारण ब्रेन हेमरेज और  शरीर में कहीं और  थक्का जमने के कारण उस भाग में सुन्नपन आने की समस्या बढ़ सकती है

    खून पतला कैसे करें :- 

    खून पतला करने के लिए आप अपने खाने में अधिक मात्रा में तरल पदार्थ शामिल करें, लहसुन का सेवन करें ,सुबह सुबह लहसुन खाना खून पतला करने में मदद करता है ! और दिल को भी स्वस्थ रखता है ! अपनी डाइट में फाइबर युक्त भोजन सम्मिलित करें! चना ,मटर ,चुकंदर, ब्रोकली ,मूंगफली ,और गाजर चुकंदर का जूस भी ले सकते हैं ! करक्यूमिन curcumin हल्दी का विशेष गुण है इसकी आप एक टेबलेट या सिरप भी ले सकते हैं ओमेगा 3 कैप्सूल ,मछली का तेल, फ्लेक्स ऑयल यह सभी आपका खून पतला करने में मदद करते हैं
    कुछ दवाइयां एलोपैथी यानी कि अंग्रेजी दवाइयां भी हैं जिन से खून को पतला किया जाता है उनमें से एक एस्प्रिन 2. प्रसिता जैसी कुछ टेबलेट है जोकि खून को पतला करने में मददगार है
    एस्प्रिन टेबलेट 150 और 75 एमजी में उपलब्ध है एस्प्रिन टेबलेट खून को पतला करने में मदद करता है लेकिन ए टैबलेट विकल्प दवाई है खून पतला करने के लिए दूसरी जो दवाई है 
    Prasita है यह मेडिसन हार्ट पेशेंट को या बड़े कोलेस्ट्रोल, सिर दर्द , खून गाढ़ा होने पर पतला करने के लिए डॉक्टर के अनुसार निश्चित की मात्रा में दी जाती है खून पतला करने की बहुत सारी अलग-अलग दवाइयां आती है prasugrel  यह दवा एंटी प्लेटलेट है जो हार्ट अटैक के मरीज को दी जाती है हार्ट अटैक  हार्ट अटैक अक्षर अक्षर प्लेटलेट्स के चिपक जाने से होता है जब कभी अचानक प्लेटलेट आपस में एक दूसरे से चिपक जाती है तभी हार्ट अटैक आता है इसके और भी कारण हो सकते हैं  यह दवा 10 mg,  60mg मे उपलब्ध है इस दवा को दिन में एक बार ली जाती है यह टेबलेट लगभग 1 घंटे में असर दिखाने लगती है

    खून पतला करने के लिए आप घर पर जूस तैयार कर सकते हैं 
    इसके लिए आपको चाहिए  
    लाल टमाटर दालचीनी और काली मिर्च

     1.लाल टमाटर - पके हुए लाल टमाटर मैं लाइकोपिन पाया जाता है यह हार्ड को सपोर्ट करता है और यह वात पित्त कफ को भी बैलेंस करता है जो व्यक्ति गी घी तेल पनीर छोले चने तला  ज्यादा खाते हैं उन लोगों के लिए टमाटर बहुत ही फायदेमंद होता है टमाटर ब्लॉकेज खोलने में असरदार भूमिका निभाता है
    2. Dalchini दाल चीनी - अभी दालचीनी शुगर पेशेंट की लिए तो फायदेमंद है ही लेकिन खून में बन रहे क्लोट को तोड़ने में भी मददगार है दालचीनी शरीर में बढ़ रहे बैड कोलेस्ट्रॉल एलडीएल (LDL) को भी कम करता है
    3. काली मिर्च - काली मिर्च में ऐसे तत्व पाए जाते हैं जोकि उनको पतला करने में और साफ करने में बहुत ही उपयोगी है

    आपको खून पतला करने के लिए जो जूस तैयार करना है उसके लिए आपको 1 एक गिलास पानी लगभग 200ml उसमें 2-3 टमाटर को, मिक्सी में पीस लेना है फिर उसका रस निकालकर एक गिलास में रख ले अब आपको दालचीनी और काली मिर्च को अलग-अलग पीसकर पाउडर बना लेना है अब इन पाउडर से टमाटर के रस में एक चुटकी दालचीनी और एक चुटकी काली मिर्च डालकर अच्छे से मिला लेना है  इस तरह तैयार किया हुआ जूस को आप सप्ताह में दो से तीन बार लेना है इससे आपका खून नहीं पता रहेगा शुगर कंट्रोल होगी आपका कोलेस्ट्रॉल लेवल सही रहेगा और आपको अनेक फायदे भी होंगे

     खून पतला है या कितना गाढ़ा है कैसे मालूम करें :

    सांस लेने में कठिनाई उच्च रक्तचाप ( ब्लड प्रेशर )को नजरअंदाज न करें !  इसके समाधान के लिए आप अपना ब्लड टेस्ट करा सकते हैं blood test -PT INR, APTT , couglation profile, bleeding time cloting time 
    PT INR TEST

    ----------------
    नोट: यह लेख मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है 

    FAQs

    मनुष्य के शरीर में हीमोग्लोबिन कितना होना चाहिए

    हीमोग्लोबिन कितना होना चाहिए, हिमोग्लोबिन की नार्मल स्थिति पुरुषों, महिलाओं, बच्चों में अलग-अलग पाई जाती है पुरुष 13 -18 gm/dl महिला 12- 16 gm/dl जन्म के समय बच्चों में 14- 24 gm/dl 0 से 2 सप्ताह 12-20 gm/dl. 2 से 6 माह 10- 17 gm/dl 6 माह से 1 वर्ष 9 -14 gm/dl 1 से 6 वर्ष 9.5 -14 gm/dl 6 से 18 वर्ष 10- 15 gm/dl गर्भवती महिलाओं में ये स्तर कम हो सकते हैं जो की 9-12 gm/dl तक.

    हीमोग्लोबिन कम होने के लक्षण

    हीमोग्लोबिन कम होने के मुख्य लक्षण 1. थकान महसूस करना, 2.कमजोरी 3. ददाश्त कम होना 4. बेचैनी 5.मांसपेशियों में जकड़न 6. हाथ पैर में दर्द 7. चक्कर आना 8. नींद अधिक आना आदि लक्षण हीमग्लोबिन की कमी को दर्शाते है!

    क्या खाने से हीमोग्लोबिन जल्दी बढ़ता है

    हिमोग्लोबिन बढ़ाने के लिए हमको अपने भोजन में पर्याप्त मात्रा में पोषक तत्व शामिल करना होगा! इसमें आयरन मिनरल विटामिन खनिज प्रोटीन युक्त भोजन हो, इसमें हरी सब्जियां जैसे ब्रोकली पालक मटर सलाद आदि, गुड एक बहुत ही अच्छा स्रोत है खून बढ़ाने के लिए भारतीय परंपरा में बच्चे के जन्म के बाद माताओं को गुड़ दिया जाता है मूंगफली चना चुकंदर अनार गन्ना चिकन मटन भी ले सकते हैं और इसके लिए आप अपने डॉक्टर से सलाह ले सकते हैं (" haemogrow syrup" भी एक अच्छा विकल्प है खून बढ़ाने के लिए, इसमें पुराना गुण मुलेठी अनारदाना ब्लैक पेपर सौंठ पीपली अमलाकी रसायन अजवाइन मंडूर भस्म टंकण भस्म शुद्ध शिलाजीत आदि प्राकृतिक जड़ी बूटियों का मिश्रण है) बादाम वाला दूध पिए ,खजूर किशमिश किशमिश खाएं इन में प्रचुर मात्रा में आयरन पाया जाता है जो बहुत जल्दी खून बढ़ाने में मदद करता है अनार रोजाना खाने से खून जल्दी बढ़ता है

    हीमोग्लोबिन कम हो तो क्या खाना चाहिए

    गुड एक बहुत ही अच्छा स्रोत है खून बढ़ाने के लिए भारतीय परंपरा में बच्चे के जन्म के बाद माताओं को गुड़ दिया जाता है मूंगफली चना चुकंदर अनार गन्ना चिकन मटन भी ले सकते हैं और इसके लिए आप अपने डॉक्टर से सलाह ले सकते हैं (" haemogrow syrup" भी एक अच्छा विकल्प है खून बढ़ाने के लिए, इसमें पुराना गुण मुलेठी अनारदाना ब्लैक पेपर सौंठ पीपली अमलाकी रसायन अजवाइन मंडूर भस्म टंकण भस्म शुद्ध शिलाजीत आदि प्राकृतिक जड़ी बूटियों का मिश्रण है) बादाम वाला दूध पिए ,खजूर किशमिश किशमिश खाएं इन में प्रचुर मात्रा में आयरन पाया जाता है जो बहुत जल्दी खून बढ़ाने में मदद करता है

    हीमोग्लोबिन ज्यादा होने के नुकसान

    शरीर में हीमोग्लोबिन की मात्रा बढ़ जाने पर 1.सिर में दर्द 2.चक्कर आना 3.घबराहट 4.चोट लगने पर अधिक मात्रा में खून बहना 5.स्त्रियों में माहवारी के समय अधिक रक्तसव 6 पसीना आना 7.सीने में दर्द 8.खुजली आदि समस्याएं आती हैं

    खून पतला कैसे करें, घरेलू उपाय

    खून पतला करने के लिए आप अपने खाने में अधिक मात्रा में तरल पदार्थ शामिल करें, लहसुन का सेवन करें ,सुबह सुबह लहसुन खाना खून पतला करने में मदद करता है ! और दिल को भी स्वस्थ रखता है ! अपनी डाइट में फाइबर युक्त भोजन सम्मिलित करें! चना ,मटर ,चुकंदर, ब्रोकली ,मूंगफली ,और गाजर चुकंदर का जूस भी ले सकते हैं ! करक्यूमिन curcumin हल्दी का विशेष गुण है इसकी आप एक टेबलेट या सिरप भी ले सकते हैं ओमेगा 3 कैप्सूल ,मछली का तेल, फ्लेक्स ऑयल यह सभी आपका खून पतला करने में मदद करते हैं

    खून गाढ़ा होने पर गंभीर समस्याएं क्या हो सकती है

    खून अधिक होने पर या गाढ़ा होने पर ब्लड प्रेशर हार्ट अटैक ब्लड क्लोटिंग खून का थक्का बनना पैरालाइसिस लकवा जैसी बीमारियों की संभावनाएं बढ़ जाती है

    Comments

    Popular posts from this blog

    "What Is HMPV? Everything You Should Know About This Seasonal Virus"

    Understanding Human Metapneumovirus (HMPV): Symptoms, Prevention, and Precautions Introduction Human Metapneumovirus (#HMPV) is a seasonal respiratory virus that mainly affects children and the elderly during colder months. Although it generally causes mild symptoms, it can sometimes lead to severe respiratory complications. Recently, there has been an increase in HMPV cases in China, but the situation in India remains controlled with only a few reported cases. This article explores HMPV, its symptoms, preventive measures, and the importance of awareness in public health. #HMPV in India and the Global Scenario The Indian Council of Medical Research (ICMR) has reported two cases of HMPV detected in Karnataka through routine surveillance. While this is not alarming, it highlights the need for constant monitoring. The situation in China, however, has raised concerns, with some uncertainty regarding whether the country is dealing with a new strain or a regular seasonal outbreak. Wha...

    हेमोग्रो सिरप: आयरन की कमी को दूर करने वाला प्राकृतिक समाधान

      हेमोग्रो सिरप: आयरन की कमी को दूर करने वाला प्राकृतिक समाधान आधुनिक जीवनशैली और अनियमित खानपान के कारण शरीर में आयरन और हीमोग्लोबिन की कमी आज एक आम समस्या बन गई है। खासकर महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों में यह समस्या अधिक देखने को मिलती है। आयरन की कमी से एनीमिया जैसी स्थिति पैदा होती है, जिससे शरीर में कमजोरी, थकावट और कार्यक्षमता में कमी होती है। आयरन की कमी के लिए सबसे अच्छा आयुर्वेदिक सिरप के रूप में हेमोग्रो सिरप इस समस्या का समाधान प्रदान करता है। हेमोग्रो सिरप क्या है?    हेमोग्रो सिरप एक आयुर्वेदिक उत्पाद जो खून बढ़ाने में मदद करता है। यह शरीर में आयरन की कमी को दूर करता है और खून की गुणवत्ता को बेहतर बनाता है। शरीर में खून बढ़ाने के आयुर्वेदिक उपाय के रूप में, यह सिरप खून को शुद्ध करता है, नई कोशिकाओं के निर्माण में मदद करता है और इम्यूनिटी को बढ़ाता है। हेमोग्रो सिरप की आवश्यकता क्यों? आयरन की कमी के लक्षण और प्रभाव आयरन शरीर में हीमोग्लोबिन का एक प्रमुख घटक है, जो ऑक्सीजन को पूरे शरीर में पहुंचाने का काम करता है। इसकी कमी से कई समस्याएं हो सकती हैं: कमजो...

    HMPV virus Understanding the Emerging Global Health Challenge

      HMPV Virus: Understanding the Emerging Global Health Challenge In recent weeks, the world has been closely monitoring a new health threat: the HMPV (Hypothetical Medical Pneumonia Virus). Known for its rapid transmission and respiratory complications, this virus has been detected in multiple countries, sparking concern among medical professionals and policymakers alike. This article explores all available information about the HMPV virus, including its symptoms, global spread, government responses, and steps you can take to protect yourself and your community. --- What Is the HMPV Virus? The HMPV virus is a newly discovered respiratory illness that poses a serious health challenge due to its high transmissibility and potential for severe complications. While scientists are still studying its origins and behavior, initial findings suggest that it spreads primarily through respiratory droplets. This mode of transmission is similar to other respiratory illnesses such as influenza, C...

    HMPV VIRUS : एक नया खतरा या सिर्फ अफवाह?

     HMPV वायरस: एक नया खतरा या सिर्फ अफवाह? हाल ही में, HMPV (Human Metapneumovirus) को लेकर चर्चाएं तेज हो रही हैं। यह वायरस श्वसन तंत्र (respiratory system) को प्रभावित करता है और सर्दी-जुकाम जैसे लक्षण पैदा करता है। परंतु, क्या यह भारत जैसे देश के लिए गंभीर खतरा बन सकता है? और क्या यह आगामी महाकुंभ 2025 जैसे विशाल आयोजन पर असर डाल सकता है? आइए इस लेख में विस्तार से समझते हैं। HMPV वायरस क्या है? HMPV (ह्यूमन मेटाप्नूमोवायरस) पहली बार 2001 में नीदरलैंड में खोजा गया था। यह पैरामाइक्सोविरिडी परिवार (Paramyxoviridae family) का एक RNA वायरस है। यह मुख्य रूप से बच्चों, बुजुर्गों और कमजोर इम्यून सिस्टम वाले लोगों को प्रभावित करता है। HMPV कैसे फैलता है? HMPV का संक्रमण बहुत हद तक फ्लू या सामान्य जुकाम की तरह होता है। यह निम्नलिखित माध्यमों से फैल सकता है: संक्रमित व्यक्ति की छींक या खांसी के माध्यम से। संक्रमित सतहों को छूने के बाद, जब व्यक्ति अपनी आंख, नाक या मुँह को छूता है। भीड़-भाड़ वाली जगहों जैसे बाजार, ट्रेन, या धार्मिक आयोजनों में। विशेष रूप से, महाकुंभ जैसे आयोजन में, जह...

    Diet chart for weight measurement

    Advanced Diet Chart Generator Advanced Diet Chart Generator Create a personalized diet chart with calorie and timing details. Height (cm): Weight (kg): Age: Gender: Male Female Activity Level: Sedentary Moderately Active Very Active Preferred Diet: Vegetarian Non-Vegetarian Generate Diet Chart © 2025 A...